वोटर सत्यापन अभियान के खिलाफ फुलवारी और संपतचक में भाकपा-माले का विरोध मार्च
केंद्र सरकार पर एनआरसी थोपने की कोशिश का लगाया आरोप
फुलवारी शरीफ.अजित। चुनाव आयोग द्वारा जारी विशेष मतदाता पुनरीक्षण अभियान के खिलाफ शनिवार को भाकपा-माले ने फुलवारी शरीफ और संपतचक में जोरदार विरोध मार्च निकाला. पार्टी ने इस प्रक्रिया को गरीब, दलित, पिछड़ा वर्ग और अल्पसंख्यकों को मताधिकार से वंचित करने की साजिश बताया। फुलवारी में निकाले गए मार्च का नेतृत्व भाकपा-माले प्रखंड सचिव कामरेड गुरुदेव दास ने किया. मार्च ईसापुर से शुरू होकर ग्वालटोला, माली गली, चुनौती कुआं होते हुए भगत सिंह चौक तक पहुंचा.इसी कड़ी में संपतचक प्रखंड के गोपालपुर मोड़ से उप-स्वास्थ्य केंद्र तक भी विरोध मार्च निकाला गया, जिसमें बड़ी संख्या में स्थानीय लोगों ने हिस्सा लिया. वहां मार्च का नेतृत्व भाकपा-माले प्रखंड सचिव सत्यानंद कुमार ने किया।

सभा को संबोधित करते हुए गुरुदेव दास ने कहा––
“1987 से पहले जन्म प्रमाण पत्र और माता-पिता के कागजात मांगना न सिर्फ गरीब विरोधी फरमान है, बल्कि यह मताधिकार छीनने की साजिश है. आधार कार्ड, राशन कार्ड, ड्राइविंग लाइसेंस को अमान्य बताना संविधान और लोकतंत्र पर सीधा हमला है.”

सत्यानंद कुमार ने संपतचक में कहा
“चुनाव आयोग का यह फरमान गरीबों को मतदाता सूची से बाहर करने की योजना है, जिसे हरगिज़ बर्दाश्त नहीं किया जाएगा. यह एनआरसी थोपने की कोशिश है.” भाकपा-माले ने घोषणा की है कि वह 9 जुलाई को प्रस्तावित राज्यव्यापी आम हड़ताल में इस मुद्दे को प्रमुखता से उठाएगी और जदयू-भाजपा की सरकार को उखाड़ फेंकने के लिए जन आंदोलन तेज करेगी।

पार्टी द्वारा “मताधिकार बचाओ, लोकतंत्र बचाओ” जन अभियान 1 जुलाई से 31 जुलाई तक चलाया जा रहा है, जिसके तहत पूरे बिहार में विरोध मार्च और जनसभाएं आयोजित की जा रही है। फुलवारी के विरोध जुलूस में देवी लाल पासवान, मो. सफीक, भाई मंटू साह, ललन पासवान, मो. तकरीम, मो. जाफर, राजकुमार राय, रामकुमार सहित दर्जनों लोग शामिल थे।